पीपल की खोह में निकला शिवलिंग

शेयर करें...

नेशन अलर्ट.
97706-56789
गुमला.

बुढ़वा महादेव मंदिर… सौ साल पुराना इतिहास… जितना पुराना इतिहास उतने पुराने किस्से. पीपल के पेड़ की खोह में शिवलिंग निकलता है. वहां श्रद्धालु आकर मत्था टेक देते हैं और बन जाता है मंदिर.

गुमला शहर में एक मोहल्ला है करमटोली… इसी मोहल्ले में यह शिव मंदिर स्थित है. बुढ़वा महादेव को मुरादें पूरी करने वाला मानकर भक्त पूजा अर्चना करते हैं. हर साल सावन में यहां उत्सव सा माहौल रहता है.

कैसे बना मंदिर?

साल दर साल इस मंदिर में आस्था लोगों की बढ़ती जा रही है. श्रद्धालु बताते हैं कि पहले एक बैगा रहा करता था. उसे नींद में सपना आया था कि इसी पीपल के वृक्ष की खोह में एक शिवलिंग है.

सपने में उससे किसी ने कहा था कि वहां पूजन अर्चन शुरू करे. सुबह उसने देखा तो वहां उसे वास्तव में शिवलिंग दिखाई दिया. इसके बाद उसने मोहल्ले के मुखिया व अन्य लोगों को जानकारी दी.

तेजपाल साबू, गौरीशंकर साव, बालकराम भगत, सोहर मेहतो सहित इस मंदिर के निर्माण में मुरारी केशरी का अमूल्य योगदान है. स्व. केशरी ने ही मंदिर जाने तक के रास्ते व कुएं का निर्माण करवाया था.

मंदिर के लिए एक एकड़ 35 डिसमिल जमीन भी मुरारी केशरी ने ही दान की थी. कुछ समय के बाद मंदिर की व्यवस्था गांव के लोगों ने एक समिति बनाकर करनी शुरू की.

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *