सावन माह के हर सोमवार को निकालेगी पालकी यात्रा, स्थानीय कलाकारों को देंगे प्राथमिकता
राजनांदगांव। सावन के पवित्र माह में संस्कारधानी नगरी राजनांदगांव में हर सोमवार निकाली जाने वाली श्री महाकाल की पालकी यात्रा में अब से कानफोड़ डीजे साउंड नहीं बजाया जाएगा। इसके स्थान पर छत्तीसगढ़ी संस्कृति को बढ़ावा देने पारंपरिक व लोककला को प्राथमिकता दी जाएगी। रामाधीन मार्ग स्थित महेश्वरी भवन में यात्रा को लेकर गुरुवार को महाकाल भक्तों की हुई एक महत्वपूर्ण बैठक में यह निर्णय किया गया। इसमें यात्रा की रूपरेखा तय की गई। इस वर्ष महाकाल भक्त सेना द्वारा अलग-अलग क्षेत्रों से कुल 11 पालकी यात्रा निकाली जाएगी। संस्कारधानी नगरी की पहचान बनती जा रही महाकाल पालकी यात्रा को लेकर इस बार भी भक्तों में जोरदार उत्साह देखा जा रहा है। भगवान शिव की आस्था व श्रद्धा वाला पवित्र महीना सावन 22 जुलाई से शुरू हो रहा है। पहला ही दिन सोमवार पड़ रहा है। महीने में कुल पांच सोमवार पड़ रहे हैं। हर सोमवार को शहर के अलग-अलग हिस्से से भक्तों द्वारा श्री महाकाल की पालकी यात्रा निकाली जाएगी। मोतीपुर तथा ग्राम पेटेश्री, बोदेला के लोगों के विशेष आग्रह पर यहां से भी पालकी यात्रा निकाली जाएगी। बैठक में सर्वसम्मति से तय किया गया कि डीजे के बजाय यात्रा में स्थानीय कलाकारों को ही प्रोत्साहित किया जाएगा। बैंडए धुमाल के बजाय छत्तीसगढ़ की सांस्कृतिक और धार्मिक कला की प्रस्तुति दी जाएगी।
सूर्यास्त से पहले होगा यात्रा का समापन
बैठक में महाकाल भक्तों ने सुझाव दिया कि प्रति सोमवार को यह यात्रा तय समय पर निकाली जाए। इसके लिए सभी से समय पर तय स्थान पर पहुंचने का आग्रह किया गया। तय किया गया कि सूर्यास्त के पहले यात्रा को संपन्न करने का प्रयास किया जाएगा। लेटलतीफी के कारण कई तरह की होने वाली असुविधा से बचने के लिए यह निर्णय लिया गया, ताकि अधिक से अधिक भक्त इसमें सहभागी बन सकें। सांसद संतोष पांडेय की बहन संगीता शुक्ला समेत महिलाएं और बालिकाएं भी बैठक में शामिल हुई, इसके अलावा विश्व हिंदू परिषद, बजरंग दल और आरएसएस के भी सदस्य पहुंचे थे।
यहां भी निकलेगी यात्रा
श्री महाकाल पालकी यात्रा संस्कारधानी के साथ धर्मनगरी डोंगरगढ़ व संगीतनगरी खैरागढ़ एवं डोंगरगांव में भी निकाली जाएगी। डोंगरगढ़ में 27 जुलाई, खैरागढ़ में 3 अगस्त, 10 अगस्त को डोंगरगांव तथा 31 जुलाई को ग्राम पंचायत रानीतराई महाराजपुर से पालकी यात्रा निकाली जाएगी। इसके अलावा मोतीपुर तथा ग्राम पेटेश्री, बोदेला के लोगों के विशेष आग्रह पर यहां से भी पालकी यात्रा निकाली जाएगी।
शहर में यहां से निकलेगी महाकाल यात्रा
० 22 जुलाई को नंदई हाट बाजार से
० 29 जुलाई क्लब चौक बसंतपुर से
० 5 अगस्त को पुराना ढाबा से
० 12 अगस्त को सिंगदई से
० 19 अगस्त को मां शीतला के द्वार से
बैठक में महाकाल भक्त नीलू शर्मा, पवन डागा, कोमल सिंह राजपूत, घनश्याम अग्रवाल, अशोक लोहिया, आवतराम तेजवानी, लक्ष्मण लोहिया, राजा माखीजा, किशन यदु, मानव देशमुख, तथागत पांडे, मनोज बैद, सूरज बुद्धदेव, राजेश जैन, विजय हरिहारनो, दामू भूतड़ा, मनीष खंडेलवाल आदि ने अपने सुझाव रखे। बैठक में बड़ी संख्या में शिव भक्त उपस्थित हो अपने विचार प्रगट किए। उक्त जानकारी महाकाल पालकी यात्रा के प्रचार प्रसार प्रभारी लक्ष्मण लोहिया ने दी।