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दंतेवाड़ा.
उप चुनाव के लिए नामांकन दाखिले के दौरान कलेक्टर टोपेश्वर वर्मा की भूमिका पर बीजेपी ने सवाल खड़े किए हैं. पूर्व मुख्यमंत्री डाक्टर रमन सिंह ने आचार संहिता का उल्लंघन किए जाने का आरोप कलेक्टर वर्मा पर मढ़ दिया है.
आरोप लगाते हुए उन्होंने कहा है कि क्या कलेक्टर को उनकी आंखों से कम दिखता है? यदि कम दिख रहा है, तो उन्हें चश्मा बदल लेना चाहिए.
रमन ने कहा कि कलेक्टर को परिवारवाद और जात-पात से दूर रहना चाहिए. उन्होंने कहा कि यदि चुनावी प्रक्रिया में यह सब चलेगा, तो मुझे लगता है कि केंद्र और चुनाव आयोग को लिखना पड़ेगा.
हमें बताता पड़ेगा कि कैसे कानून की धज्जियां उड़ाई जा रही हैं. पूर्व मुख्यमंत्री डा. सिंह ने कहा कि हमारे लोगों ने शिकायत की है.पर्यवेक्षक के संज्ञान में पूरा मामला लाया है. देखते हैं, इन शिकायतों पर आगे क्या कार्यवाही होगी.
दरअसल पूर्व मुख्यमंत्री की नाराजगी नामांकन को लेकर दिए गए वक्त को बार-बार बदलने को लेकर थी. तल्ख भरे अंदाज में डाक्टर रमन सिंह ने कहा कि पहले बीजेपी उम्मीदवार के नामांकन के लिए 12 से 1 बजे तक का वक्त दिया गया था.
उनके अनुसार बाद में इसे बढ़ाकर 2 से 3 बजे तक का किया गया. इसके बाद फिर वक्त बढ़ाकर 4 बजे कर दिया गया, लेकिन कांग्रेस को तीन बार उनकी मर्जी के मुताबिक समय दिया गया. पर्यवेक्षक क्या देख रहे हैं, यह समझ के परे हैं. कलेक्टर वर्मा की इसमें क्या भूमिका है यह समझ नहीं आ रहा है.
डाक्टर रमन सिंह ने कहा कि दंतेवाड़ा मंदिर परिसर का राजनीतिक इस्तेमाल कभी नहीं किया गया था. बीते 15 सालों में इस मंदिर का उपयोग हमने केवल दर्शन के लिए ही किया था. लेकिन आज यहां नारे लग रहे हैं. परिसर में झंडे लगाए जा रहे हैं.यह आचार संहिता का खुला उल्लंघन है.
पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि 15 सालों तक बीजेपी की सरकार ने दंतेवाड़ा का विकास किया. दंतेवाड़ा का नया स्वरूप एजुकेशन हब बनकर तैयार हुआ. लाइवलीहुड कालेज बनकर तैयार किया, प्रयास और उड़ान के माध्यम से यहां के बच्चों के लिए मेडिकल कालेज, इंजीनियरिंग कालेज जाने का रास्ता खुला.
यहां के हास्पीटल में तीस से ज्यादा पद सृजित किए गए. यहां सर्जरी सपना था, लेकिन बीजेपी सरकार के दौरान बेहतर ओपीडी बनाया गया. ऐसा डेवलपमेंट का काम किया कि इसे देखने प्रधानमंत्री तक यहां आए, लेकिन लेकिन पिछले नौ महीने में, जब से भूपेश बघेल की सरकार आई है. बीपीओ बंद हो गए हैं. लाइवलीहुड के जितने काम थे, वह सब बंद हो गए.
महिलाओं को रोजगार के अवसर मिलते थे, वह बंद हो गए. एक प्रकार से विकास के काम जो चल रहे थे. वह सब बंद हैं. सड़क, पुल-पुलिए का निर्माण यह सब बंद कर दिया गया है. इससे एक प्रकार से नक्सलियों को प्रश्रय मिला हुआ है.
23 तारीख तक हर रोज नए-नए आरोप लगेंगे
इस मामले में दंतेवाड़ा कलेक्टर टोपेश्वर वर्मा ने कहा कि इस मामले की शिकायत यदि आएगी, तो जांच कराकर रिपोर्ट दे देंगे.
वर्मा के मुताबिक प्रापर्टी ट्रस्ट की है, लेकिन वहां हर तरीके के सार्वजनिक कार्यक्रम होते हैं. एसडीएम ने सभी जगह सहमति लेकर ही अनुमति दी है. जो धार्मिक स्थल की परिभाषा है, वह इसमें नहीं आती.
कलेक्टर के अनुसार मंदिर के भीतर की दुकानों ने अपनी जगह पर झंडे लगाए हैं, तो उन लोगों को नियमों के मुताबिक काम करना चाहिए. इस पर अलग से कार्यवाही की जाएगी.
कलेक्टर टोपेश्वर वर्मा ने कहा कि अभी 23 तारीख तक हर रोज नए-नए आरोप-प्रत्यारोप लगेंगे. विपक्ष वाले हमेशा ऐसा आरोप लगाते रहते हैं.