पुलवामा (जम्मू कश्मीर) में गुरूवार को हुए आतंकी हमले में अपनी जान गंवाने वाला वीवी बसंता कुमार (38) बस्तर में तीन साल तक पदस्थ रह चुका था. दरअसल सीआरपीएफ की 85वीं बटालियन बस्तर में अप्रैल 2018 से जुलाई 2018 तक पदस्थ थी. इसी में रहने के दौरान बसंता की ड्यूटी बीजापुर घाटी के नीचे के कैंप में लगी थी. मार्च 2018 में उसके एक साथी जवान लक्ष्मण राव आईईडी ब्लास्ट की जद में आ गए थे. तब बसंता ने बिना अपनी जान की परवाह किए लक्ष्मण को पीठ पर लाद कर सड़क तक पहुंचाया था. इस बहादुरी के लिए बटालियन के सीईओ सुधीर कुमार ने डीजी अवार्ड के लिए बसंता के नाम की अनुशंसा की थी. सीआरपीएफ में 2001 में भर्ती हुए बसंता केरल के वियांड जिले के कुनाथीडवाका गांव के रहने वाले थे. उन्होंने कश्मीर में अपनी जान गंवाकर अपनी बहादुरी का परिचय दिया है.