नेशन अलर्ट/9770656789
www.nationalert.in
राजनांदगांव. उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने आज राजनांदगांव संसदीय क्षेत्र से भाजपा प्रत्याशी संतोष पांडे के लिए कवर्धा व राजनांदगांव जिले में दो सभाओं को संबोधित किया। इन सभाओं में उन्होंने आम जनमानस से एक सवाल करते हुए पूछा कि क्या यदि कांग्रेस सरकार होती तो अयोध्या में रामलला का भव्य मंदिर बन पाता।
योगी आदित्यनाथ भाजपा के स्टार प्रचारक हैं। वह उस उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री का दायित्व संभाल रहे हैं जहां से 80 लोकसभा सीटें आती हैं। यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने रविवार को कांग्रेस के साथ-साथ उसके प्रत्याशी भूपेश बघेल को आड़े हाथ लेते हुए जमकर धोया।
जब भी अवसर मिला लूटने का काम किया
योगी आदित्यनाथ ने इस अवसर पर कांग्रेस के भ्रष्टाचार पर तीखे हमले किए। उन्होंने कहा कि कांग्रेस को जब भी अवसर मिला उसने छत्तीसगढ़ को लूटने का काम किया। पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल को आड़े हाथ लेते हुए उन्होंने कहा कि जिस व्यक्ति के खिलाफ दर्जनों एफआईआर दर्ज है वह व्यक्ति ठसक के साथ चुनाव लड़ने का दुस्साहस कर रहा है।
योगी यही पर नहीं रूके। उन्होंने पूर्व मुख्यमंत्री के कार्यकाल को लेकर कहा कि शराब घोटाला, कोयला घोटाला, पीएससी घोटाला, डीएमएफ और महादेव एप जैसे न जाने कितने घोटाले हैं जो कि भूपेश बघेल के कार्यकाल में घटित हुए। यह आज का भारत है। नए समय का भारत है। नए भारत में अब घोटालेबाज नहीं बचेंगे।
भुनेश्वर साहू हत्याकांड का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि उसने लव जिहाद का विरोध करते हुए अपने आप को झोंक दिया था। उनके पिता ईश्वर साहू को विधायक बनाकर छत्तीसगढ़ की जनता ने सच्ची श्रद्धांजलि दी है। नक्सलवाद और आतंकवाद पर बोलते हुए देश के सबसे बड़े प्रांत के मुख्यमंत्री ने इसके लिए भी कांग्रेस को जिम्मेदार ठहराया।
उन्होंने कहा कि कांग्रेस के शासनकाल में गरीब आदमी भूखे मर जाता था। किसान आत्महत्या के लिए मजबूर होते थे। सुरक्षा के संकट से महिलाएं दो-चार हुआ करती थी। अब मोदी जी का शासन है। 80 करोड़ जनता को मुफ्त राशन मिल रहा है। लाखों लोगों को आयुष्मान कार्ड मिले हैं।
योगी आदित्यनाथ ने उत्तरप्रदेश का हवाला देते हुए कहा कि हमारी सरकार ने अपने यहां के 56 लाख गरीबों को मकान बनाकर दिए हैं। इसी छत्तीसगढ़ में जब भूपेश सरकार हुआ करती थी तब 18 लाख गरीब मकान के लिए तरस गए क्योंकि भूपेश बघेल ने मुखिया होने के बावजूद इन 18 लाख गरीबों को पैसा देने से मना कर दिया था। आस्था, सम्मान और विकसित भारत के लिए योगी आदित्यनाथ ने हाथ उठवाकर लोगों से समर्थन मांगा।