रायपुर।
प्रदेश से लापता 11 हजार लड़कियों की अब खोजबीन की जाएगी. मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह ने इस मामले में कार्रवाई के लिए डीजीपी एएन उपाध्याय से कहा है. लापता लड़कियों का मुद्दा राज्यसभा सांसद छाया वर्मा ने सदन में उठाया था. उनके इस खुलासे ने सदन को भी हैरत में डाल दिया था. लापता लड़कियों की इतनी बड़ी तादात वाकई हैरत में डालने वाली है.
कांग्रेस की ओर से राज्यसभा सांसद छाया वर्मा ने सदन में चर्चा के दौरान बीते दिनों एक गंभीर विषय सामने रखा था. गुमशुदा लड़कियों के आंकड़े बताते हुए उन्होंने छत्तीसगढ़ में महिला और युवतियों की सुरक्षा से जुड़े मुद्दे को सामने रखा था. उन्होंने सुप्रीम कोर्ट के द्वारा उल्लेखित गुमशुदा लड़कियों के बारे में बताते हुए कहा था कि अकेले छत्तीसगढ़ राज्य की 11 हजार लड़कियां लापता हैं:
इस मसले को लेकर अब सरकार आगे आई है. पुलिस विभाग को जिम्मेदारी सौंपी गई है कि वे इन मसलों पर जांच करे और लापता युवतियों को तलाशने पर जोर दिया जाए. इस संबंध में मुख्यमंत्री ने डीजीपी को जिम्मेदारी सौंपी है.
मानव तस्करी की शिकार
ऐसा कई बार हुआ है कि प्रदेश के सरगुजा संभाग से मानव तस्करी की खबरें निकलकर सामने आई है. ऐसे मामलों में खासकर युवतियों की संख्या ज्यादा रही है. हालांकि यह एक अकेले संभाग की कहानी नहीं है. पुलिसियां जांच में यह सामने आ ही जाएगा की प्रदेश के अन्य संभागों में भी ऐसे मामले हैं. आदिवासी अंचल की युवतियों को बहला-फुसला कर उनकी तस्करी के भी कई मामले हैं.
पलायन से भी जुड़ेगा मसला
लापता होने के मामलों में पलायन करने वाले ग्रामीणों का विषय भी शामिल है. कई ग्रामीण युवतियां ऐसी हैं जो अपने परिवार या परिचितों के साथ रोजी रोटी की तलाश में अन्य प्रदेश गईं और फिर कभी वापस ही नहीं लौटी. उनके परिजनों ने तलाश तो कि पर थक हारकर वे भी अपने घर लौट आए. हालांकि ऐसे मामलों की शिकार अकेली युवतियां ही नहीं होती. मजदूरों को बंधक बनाकर रखने के कई केस हैं.