राजनांदगांव। कार्यपालन अभियंता लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी खंड राजनांदगांव समीर शर्मा ने बताया कि जिले के डोंगरगढ़ विकासखंड के ग्राम राका तथा राजनांदगांव विकासखंड के ग्राम बोरी के जल स्त्रोतों में यूरेनियम की उपस्थिति की जानकारी मिली थी। जिस पर त्वरित कार्रवाई करते हुए वरिष्ठ रसायनज्ञ परिमल दत्ता की उपस्थिति में जिले के विभिन्न ग्रामों के जल स्त्रोतों से जल नमूनों का संग्रहण कर जल में यूरेनियम के परीक्षण लोक स्वास्थ्य यांत्रिकीय विभाग के राज्य स्तरीय जल परीक्षण प्रयोगशाला एवं अनुसंधान केन्द्र रायपुर कराया गया। जहां जल नमूनों की अत्याधुनिक एडवांस्ड तकनीक आधारित इनडक्टीव कपल्ड प्लाज्मा मास स्पेक्ट्रोमेट्री (आईसीपीएमएस) मशीन से जांच की गई। इस मशीन से मुख्यतः सभी भारी धातु (हेवी मेटल्स) एवं यूरेनियम के परीक्षण की सुविधा है। विश्व स्वास्थ्य संगठन के अनुसार पेयजल में यूरेनियम की अधिकतम स्वीकार्य मात्रा 0.03 मिलीग्राम प्रति लीटर है। जांच के उपरांत जल नमूने में यूरेनियम की मात्रा 0.03 मिलीग्राम प्रति लीटर से काफी कम पायी गयी है, जो निर्धारित मानक सीमा के अंतर्गत है। पेयजल में यूरेनियम की अधिकतम स्वीकार्य मात्रा 0.03 मिलीग्राम प्रति लीटर से अधिक होने से व्यक्ति को किडनी से संबंधित बीमारी होने की संभावना रहती है।
(यह खबर टीम नेशन अलर्ट द्वारा संपादित नहीं की गई है. जैसी मिली वैसी प्रकाशित हुई है. अत: नेशन अलर्ट किसी भी तरह की गल्ती के लिए जिम्मेदार नहीं है.)